Wednesday, 15 December 2010

पेड़ों की कटाई रोको


पेड़ कटते जा रहे हैं और कंक्रीट के जंगल बढ़ते जा रहे हैं। अंधाधुंध पेड़ों की कटाई को नहीं रोका गया तो एक दिन ऐसा आएगा कि खुली हवा में सांस लेना भी मुश्किल हो जाएगा। आक्सीजन देने वाले बड़े पेड़ों को काटा जा रहा है। शहर का विस्तार हो रहा है जबकि गांव सिकुड़ते जा रहे हैं। सरकार को इस ओर ध्यान देना चाहिए। इस प्रकार के कठोर कानून बनाएं ताकि पेड़ काटने से पूर्व हजार बार लोग सोचे। इस धरता के आभूषण कहे जाने वाले पेड़ों से न केवल वायुमंडल शुद्ध होता है बल्कि व्यक्ति भी निरोग रहता है।

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